त्योहारों की कहानियां : हर महीने विभिन्न त्योहारों की साहित्यिक और सांस्कृतिक पृष्ठभूमि

November 08, 2025 admin


त्योहारों की कहानियां : हर महीने विभिन्न त्योहारों की साहित्यिक और सांस्कृतिक पृष्ठभूमि

भारत त्योहारों का देश है। यहाँ हर महीने कोई न कोई त्योहार मनाया जाता है, जो हमारी आस्था, संस्कृति और परंपरा को जीवित रखते हैं। हर त्योहार के पीछे एक कथा, एक संदेश और एक सामाजिक मूल्य छिपा होता है।

जनवरी – मकर संक्रांति और पोंगल यह सूर्य के उत्तरायण होने और नई फसल के आगमन का पर्व है। यह मेहनत और नव आरंभ का प्रतीक है।

फरवरी – वसंत पंचमी मां सरस्वती की पूजा का दिन, जो ज्ञान, सृजन और नई ऊर्जा का प्रतीक है।

मार्च – होली रंगों और खुशी का त्योहार, जो सत्य की असत्य पर विजय की कथा कहता है।

अप्रैल – राम नवमी और बैसाखी राम नवमी मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम के जन्म का पर्व है, जबकि बैसाखी फसल कटाई और परिश्रम के उत्सव का प्रतीक है।

मई – बुद्ध पूर्णिमा यह गौतम बुद्ध के ज्ञान, करुणा और शांति के संदेश को याद दिलाती है।

जुलाई-अगस्त – रक्षाबंधन और जन्माष्टमी रक्षाबंधन भाई-बहन के प्रेम का उत्सव है, और जन्माष्टमी श्रीकृष्ण के जीवन से धर्म और प्रेम का संदेश देती है।

सितंबर-अक्टूबर – नवरात्रि और दशहरा यह शक्ति और विजय के पर्व हैं — जहाँ माँ दुर्गा और श्रीराम की कथा हमें अच्छाई पर बुराई की जीत का संदेश देती है।

अक्टूबर-नवंबर – दीपावली अंधकार से प्रकाश की ओर बढ़ने का त्योहार, जो आशा, समृद्धि और सत्य की विजय का प्रतीक है।

दिसंबर – क्रिसमस प्रेम, दया और मानवता का उत्सव, जो पूरे विश्व को सद्भाव और शांति का संदेश देता है।

समापन भारत के त्योहार हमारी सांस्कृतिक जड़ों को मजबूत करते हैं। ये केवल पूजा या रीति नहीं, बल्कि एकता, प्रेम, सहयोग और जीवन मूल्यों के उत्सव हैं।


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